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विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना

(राज्यांश 100 प्रतिशत)

योजनान्तर्गत पारम्परिक कारीगर जैसे बढई, दर्जी, टोकरी बुनकर, नाई, सुनार, लोहार, कुम्हार, हलवाई, मोची, राज मिस्त्री एवं हस्तशिल्पियों के आजीविका के साधनों का सुदृढ़ीकरण करते हुये उनके जीवन स्तर को उन्नत किया जायेगा।

लाभः

(क) कौशल ब्रद्धिकरण: पारम्परिक कारीगरों की कौशल वृद्धि हेतु उन्हे उ०प्र० कौशल विकास मिशन के अन्तर्गत 06 दिवसीय प्रशिक्षण प्रदान किया जायेगा। प्रशिक्षण कार्य कम निशुल्कः एवं आवासीय होगा। प्रशिक्षणो परान्त प्रशिक्षणार्थियों को प्रमाण पत्र भी दिया जायेगा।

(ख) टूलकिट वितरणः परम्परागत कारीगरों द्वारा प्रयोग किये जा रहे औजार पुरानी तकनीक पर आधारित हैं। कौशल वृद्धि प्रशिक्षण उपरान्त आधुनिक तम तकनीक पर आधारित उन्नत किस्म के टूल्स किट का वितरण निःशुल्क किया जायेगा।

(ग) मार्जिन मनी ऋण : टूल किट प्राप्त लाभार्थियों में से ऋण सुविधा हेतु इच्छुक लाभार्थियों को वर्तमान में संचालित मार्जिन मनी योजनाओं प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम, मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना एवं एक जनपद एक उत्पाद वित्त पोषण योजना से डवटेलिंग करते हुए ऋण उपलब्ध कराया जायेगा।